पीएचडीसीसीआई ने चंडीगढ़ प्रशासन और एसटीपीआई के सहयोग से आईटी कॉन्क्लेव का किया आयोजन
चंडीगढ़ एक उभरता हुआ आईटी हब है। सरकार को ऐसा इकोसिस्टम बनाना चाहिए, जहां उद्योगों को किसी भी तरह के सरकारी सहयोग की जरूरत न पड़े। उपरोक्त विचार चंडीगढ़ उद्योग एवं वाणिज्य विभाग की सचिव आईएएस हरगुनजीत कौर ने चंडीगढ़ में पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री द्वारा आयोजित एक समारोह में व्यक्त किए।
प्रशासन और सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क्स ऑफ इंडिया के सहयोग से आयोजित आईटी कॉन्क्लेव में बोलते हुए उन्होंने कहा कि प्रशासन का ध्यान एक ऐसा इकोसिस्टम विकसित करने पर है, जिसमें न्यूनतम सरकारी हस्तक्षेप की आवश्यकता हो। उन्होंने आईटी क्षेत्र में विकास और नवाचार को बढ़ावा देने का भी आह्वान किया। उन्होंने अपना सहयोग देने का आश्वासन दिया।
इस अवसर पर एसटीपीआई के अतिरिक्त निदेशक राकेश वर्मा ने भारत में आईटी उद्योग में एसटीपीआई के योगदान के बारे में बात की और कहा कि एसटीपीआई ने देश भर में आईटी पार्क स्थापित करने में मदद की है और भारत के सकल घरेलू उत्पाद में आईटी उद्योग का योगदान काफी हद तक बढ़ गया है।
पीएचडीसीसीआई के चंडीगढ़ चैप्टर के अध्यक्ष मधु सूदन विज ने स्वागत भाषण देते हुए चंडीगढ़ क्षेत्र के आर्थिक विकास में आईटी उद्योग के महत्व का उल्लेख किया। सम्मेलन के दौरान डिजिटल परिवर्तन, कृत्रिम बुद्धिमत्ता, साइबर सुरक्षा और स्टार्ट-अप पर विभिन्न सत्र आयोजित किए गए।
पीएचडीसीसीआई चंडीगढ़ चैप्टर के सह-अध्यक्ष सुव्रत खन्ना ने सम्मेलन को सफल बनाने में उनके अमूल्य योगदान के लिए चंडीगढ़ प्रशासन, एसटीपीआई मोहाली, प्रख्यात वक्ताओं, प्रतिभागियों और प्रायोजकों का हार्दिक आभार व्यक्त किया।
उद्घाटन सत्र में चंडीगढ़ के पीसीएस इंडस्ट्री डायरेक्टर पवित्र सिंह, पंजाब स्टेट चैप्टर पीएचडीसीसीआई के सह-अध्यक्ष संजीव सिंह सेठी और पीएचडीसीसीआई शी फोरम की क्षेत्रीय अध्यक्ष पूजा नायर भी मौजूद थीं। पीएचडीसीसीआई की क्षेत्रीय निदेशक भारती सूद ने सत्र का संचालन किया।
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