पंजाब में श्री गुरु तेग बहादुर जी के शहीदी शताब्दी दिवस पर 25 नवंबर को ‘रक्तदान अभियान’ की शुरुआत
पंजाब सरकार 25 नवंबर को राज्यव्यापी ‘रक्तदान अभियान अभियान को शुरू करेंगे। साथ ही, पूरे राज्य में 3.50 लाख पौधों के पौधारोपण का ऐतिहासिक अभियान भी चलाया जाएगा।
श्री आनंदपुर साहिब जी में 23 नवंबर से शुरू होने जा रहा श्री गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी दिवस का समागम पूरे पंजाब में श्रद्धा और भावनाओं का प्रतीक बन चुका है। तीन दिवसीय यह आयोजन केवल धार्मिक दृष्टि से नहीं, बल्कि मानव सेवा, प्रकृति को बचाने और “सरबत दा भला” की भावना से जुड़ा हुआ है।
राज्यव्यापी रक्तदान अभियान का शुभारंभ
पंजाब सरकार के नेतृत्व में राज्यव्यापी रक्तदान अभियान की शुरुआत करेगी। यह पहल श्री गुरु तेग बहादुर जी की उस शिक्षा को दिखाती है जिसमें कहा गया है कि “मानव सेवा ही सच्चा धर्म है।” 25 नवंबर को पूरे पंजाब में एक साथ रक्तदान शिविर लगाए जाएंगे। सरकार का उद्देश्य है कि इस अभियान के माध्यम से मानवता की भावना को जन-जन तक पहुंचाया जाए।
3.50 लाख पौधों को लगाने का अभियान
इसके बाद पूरे राज्य में 3.50 लाख पौधों के पौधारोपण का ऐतिहासिक अभियान चलाया जाएगा। यह केवल हरियाली बढ़ाने का प्रयास नहीं, बल्कि प्रकृति और दुनिया के लिए श्री गुरु तेग बहादुर जी की शिक्षाओं को आगे बढ़ाने का प्रतीक है। पंजाब सरकार ने इस अभियान को “प्रकृति संरक्षण और मानव कल्याण” के संयुक्त उद्देश्य से जोड़ा है, ताकि आने वाली पीढ़ियां भी इस भावना को समझ सकें।
‘सरबत दा भला’ और अंगदान प्रतिज्ञा अभियान
गुरबानी कीर्तन और “सरबत दा भला एकता केंद्र” जैसे कार्यक्रमों के माध्यम से इस दिन की आध्यात्मिक गहराई और भी बढ़ जाएगी। 25 नवंबर को राज्यव्यापी अंगदान प्रतिज्ञा अभियान भी शुरू किया जाएगा, जो इस बात का संदेश देगा कि दूसरों को जीवन देना ही सबसे बड़ा धर्म है। ‘सरबत दा भला’ सिख धर्म की मूल भावना है, जिसमें पूरे मानव समाज की भलाई की शामिल है।
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