Punjab : गुरदासपुर में आतंक की बड़ी साजिश नाकाम, ग्रेनेड प्लॉट करने वाला बदमाश पकड़ा गया
डीआईजी बॉर्डर रेंज संदीप सिंह गोयल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि केंद्रीय एजेंसियों की मदद से सुरक्षा बलों ने एक बड़े आतंकी मॉड्यूल का भंडाफोड़ किया है।
डीआईजी बॉर्डर रेंज संदीप सिंह गोयल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि केंद्रीय एजेंसियों की मदद से सुरक्षा बलों ने एक बड़े आतंकी मॉड्यूल का भंडाफोड़ किया है। यही मॉड्यूल 25 तारीख को गुरदासपुर थाना परिसर पर हुए ग्रेनेड हमले के पीछे था और 30 तारीख को दूसरा हमला करने की तैयारी में था।
डीआईजी के अनुसार, पुलिस की कार्रवाई ने इस बड़ी साज़िश को समय रहते नाकाम कर दिया। आज सुबह हुई मुठभेड़ में मॉड्यूल के दो सदस्य घायल अवस्था में पकड़े गए, जो इस ऑपरेशन को राष्ट्रीय सुरक्षा के स्तर पर बेहद अहम बनाता है।
किसके इशारे पर चल रहा था अमन पन्नू का नेटवर्क ?
उन्होंने बताया कि यह पूरा मॉड्यूल आईएसआई के निर्देशों पर भारतीय पुलिस स्टेशनों को निशाना बनाने की योजना बना रहा था। इसकी कमान पाकिस्तान में बैठे शहजाद भट्टी, जीशान अख्तर और अमेरिका में मौजूद अमन पन्नू के हाथों में थी। अमन पन्नू विदेश से युवाओं को जोड़कर विशेष तौर पर भारत विरोधी हमले करवाने के लिए यह मॉड्यूल तैयार कर रहा था। जानकारी यह भी सामने आई है कि जीशान अख्तर पहले बाबा सिद्दीकी हत्याकांड में भी शामिल रह चुका है।
गिरफ्तारी के बाद सामने आए नाम
डीआईजी ने बताया कि पहले गुरदित और प्रदीप को पकड़ा गया था। पूछताछ में नवीन और कुश के नाम सामने आए। आज गुरदासपुर-मुकेरियां रोड पर इन्हें रोकने की कोशिश की गई, लेकिन दोनों ने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में वे घायल हुए और पकड़े गए। उनके पास से एक ग्रेनेड भी बरामद किया गया। इसके अलावा हरगुण (मोगा निवासी) और विजय (मध्य प्रदेश निवासी) को भी गिरफ्तार किया गया है। विजय को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया। इस पूरे ऑपरेशन में दिल्ली, राजस्थान और मध्य प्रदेश पुलिस ने संयुक्त प्रयास किए।
FSL रिपोर्ट के बाद होगी ग्रेनेड हमले की अंतिम पुष्टि
डीआईजी गोयल ने कहा कि किसी भी धमाके को तुरंत ग्रेनेड अटैक बताना उचित नहीं। अंतिम पुष्टि FSL रिपोर्ट आने के बाद ही की जाती है। उन्होंने बताया कि विदेश में बैठे आतंकी संगठनों की साजिश है कि पंजाब के युवाओं को आतंकवाद की राह पर धकेला जाए। इंटरपोल से सहयोग लेकर विदेश में छिपे आरोपियों को भी भारत लाने की तैयारी चल रही है।
उन्होंने बताया कि साइबर फ्रॉड रुकवाने के लिए छोटी रकम की तुरंत फ्रीज़िंग, लोक अदालत में फास्ट-ट्रैक समाधान और स्कूल–कॉलेजों में साइबर जागरूकता एंबेसडर बनाना शामिल है। DGP ने बैंकिंग संस्थानों को लापरवाही रोकने के निर्देश दिए और नागरिकों से साइबर धोखाधड़ी के प्रति सतर्क रहने की अपील की।
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