IndiGo Crisis: केंद्र सरकार ने दिए उच्च स्तरीय जांच के आदेश, 24x7 नियंत्रण कक्ष स्थापित
अधिकारियों के अनुसार, शनिवार तक टाइम टेबल आंशिक रूप से सामान्य हो जाएगा और तीन दिनों में पूरी तरह बहाल हो जाएगी।
देश की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो में हाल के दिनों में हुई व्यापक उड़ान रद्दीकरण और सेवाओं में गंभीर बाधा पर केंद्र सरकार ने कड़ा रुख अपनाया है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने इंडिगो की परिचालन गड़बड़ियों की उच्च स्तरीय जांच के आदेश जारी कर दिए हैं, साथ ही यात्रियों की परेशानियों को कम करने के लिए 24x7 नियंत्रण कक्ष स्थापित किया है।
संकट की पृष्ठभूमि
इंडिगो एयरलाइंस में अचानक बड़े पैमाने पर उड़ानें रद्द होने से हजारों यात्री प्रभावित हुए। विशेषज्ञों के अनुसार, डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन (DGCA) के फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) नियमों के नए आदेशों ने इस संकट को जन्म दिया। इन नियमों को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया गया है, ताकि एयर सेफ्टी से समझौता किए बिना सेवाएं बहाल हो सकें। सरकार का कहना है कि यह कदम पूरी तरह यात्रियों के हित में लिया गया है।
जांच और नियंत्रण कक्ष की भूमिका
उच्च स्तरीय जांच का उद्देश्य गड़बड़ी के मूल कारणों की पहचान, दोषी व्यक्तियों पर जवाबदेही तय करना और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के उपाय सुझाना है। नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू ने नियंत्रण कक्ष का दौरा भी किया। 24x7 नियंत्रण कक्ष (हेल्पलाइन नंबर: 011-24610843, 011-24693963, 096503-91859) स्थिति की वास्तविक समय निगरानी करेगा, एयरलाइनों से समन्वय करेगा और यात्रियों की शिकायतों का तत्काल समाधान सुनिश्चित करेगा।
सरकार के निर्देश और अपेक्षाएं
मंत्रालय ने इंडिगो को उड़ान सेवाओं को स्थिर करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। अधिकारियों के अनुसार, शनिवार तक टाइम टेबल आंशिक रूप से सामान्य हो जाएगा और तीन दिनों में पूरी तरह बहाल हो जाएगी। विपक्षी दलों ने सरकार पर निशाना साधा है, लेकिन केंद्र ने यात्रियों की सुरक्षा और सुविधा को सर्वोच्च प्राथमिकता का आश्वासन दिया है।
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