HRTC की बसों में अब नहीं दिखेंगे ये विज्ञापन, हिमाचल सरकार कसने जा रही है शिकंजा
लोगों का मानना है कि यह कदम हिमाचल को स्वच्छ, स्वस्थ और जागरूक समाज की ओर ले जाने का एक मजबूत आधार प्रदान करता है और इस प्रकार के कदम से राज्य में नशा मुक्ति अभियान को बल मिलेगा।
हिमाचल की सुक्खू सरकार ने हिमाचल रोड ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन (HRTC) की बसों में लगने वाले विज्ञापनों पर शिकंजा कसने जा रही है इसी कड़ी में राज्य सरकार प्रदेश को नशा मुक्त बनाने के संदर्भ में HRTC की बसों में गुटखा और शराब के विज्ञापनों को पूरी तरह से प्रतिबंधित कर दिया है।
बता दें कि हिमाचल प्रदेश में सार्वजनिक परिवहन का बड़ा हिस्सा एचआरटीसी बसों के माध्यम से संचालित होता है। राज्य के शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में इन बसों का उपयोग हजारों यात्री करते हैं। पहले बसों के अंदर और बाहर गुटखा, तंबाकू, शराब और अन्य नशीले उत्पादों के विज्ञापन देखे जाते थे, जो खासकर युवाओं और बच्चों पर नकारात्मक प्रभाव डालते थे। इन विज्ञापनों को लेकर सामाजिक संगठनों और आम जनता ने द्वारा लगातार विरोध जताया जाता रहा है।
सरकार का उद्देश्य
सरकार का यह कदम राज्य में स्वस्थ जीवनशैली को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उठाया गया है। गुटखा और शराब जैसे उत्पादों का सेवन स्वास्थ्य के लिए अत्यंत हानिकारक होता है। साथ ही ऐसे विज्ञापनों पर प्रतिबंध लगाने से न केवल स्वास्थ्य पर सकारात्मक असर पड़ेगा, बल्कि यह पर्यावरण, नैतिकता और सामाजिक जिम्मेदारी का भी प्रतीक है। इनके प्रचार-प्रसार पर रोक लगाकर सरकार ने एक मजबूत संदेश दिया है कि सार्वजनिक स्थानों पर ऐसे उत्पादों का प्रोत्साहन अस्वीकार्य है।
सरकार के इस फैसले को लेकर जनता और सामाजिक संगठनों ने सरकार की सराहना की है। लोगों का मानना है कि यह कदम हिमाचल को स्वच्छ, स्वस्थ और जागरूक समाज की ओर ले जाने का एक मजबूत आधार प्रदान करता है और इस प्रकार के कदम से राज्य में नशा मुक्ति अभियान को बल मिलेगा।
आदेश की मुख्य बातें:
1. गुटखा और शराब के विज्ञापन पर रोक:
- HRTC की बसों और परिसरों में इन उत्पादों के विज्ञापन नहीं लगाए जाएंगे।
2.स्वास्थ्य और सामाजिक संदेशों को बढ़ावा:
- इनकी जगह अब जागरूकता अभियान, शिक्षा, पर्यावरण संरक्षण और स्वच्छता से संबंधित विज्ञापनों को प्राथमिकता दी जाएगी।
3. नशा-मुक्त हिमाचल:
- सरकार का यह फैसला 'नशा मुक्त हिमाचल' अभियान के तहत लिया गया है, जो राज्य को नशे की लत से मुक्त करने का प्रयास है।
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