PM Internship Scheme: सरकार की पीएम इंटर्नशिप स्कीम शुरू
उम्मीदवारों का चयन उनकी प्रोफाइल, पसंद और योग्यता के आधार पर किया जाएगा। इसके बाद, भाग लेने वाली कंपनियां शॉर्टलिस्ट किए गए आवेदनों में से उम्मीदवारों का चयन करेंगी।
केंद्र सरकार कल यानी 3 अक्टूबर से पीएम इंटर्नशिप योजना के तहत एक नया केंद्रीकृत पोर्टल शुरू करने की तैयारी कर रही है, जिसके जरिए कंपनियों से आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे। इच्छुक इंटर्न 12 अक्टूबर से इस पोर्टल पर आवेदन कर सकेंगे। सूत्रों के मुताबिक, यह पोर्टल प्रत्येक पद के लिए उपलब्ध रिक्तियों की तुलना में आवेदकों की दोगुनी संख्या को स्वचालित रूप से छांट देगा।
उम्मीदवारों का चयन उनकी प्रोफाइल, पसंद और योग्यता के आधार पर किया जाएगा। इसके बाद, भाग लेने वाली कंपनियां शॉर्टलिस्ट किए गए आवेदनों में से उम्मीदवारों का चयन करेंगी।
इंटर्नशिप के लिए पात्रता
कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय ने भाग लेने वाली कंपनियों को उम्मीदवारों की पात्रता पर दिशा-निर्देश भी भेजे हैं। इन दिशा-निर्देशों के अनुसार, आवेदकों को माध्यमिक परीक्षा उत्तीर्ण होना आवश्यक है और उनकी आयु 21 से 24 वर्ष के बीच होनी चाहिए। साथ ही, उम्मीदवार के परिवार में कोई सरकारी कर्मचारी या आयकरदाता नहीं होना चाहिए। इस योजना का उद्देश्य युवाओं को वास्तविक कार्य अनुभव प्रदान करना और उनके कौशल में सुधार करना है। दिशा-निर्देशों में कहा गया है कि 12 महीने की इंटर्नशिप का कम से कम आधा हिस्सा कक्षा-आधारित प्रशिक्षण के बजाय 'वास्तविक कार्य अनुभव' के लिए समर्पित होना चाहिए।
5,000 रुपये मासिक वजीफा
मंत्रालय ने प्रत्येक इंटर्न को 5,000 रुपये प्रति माह वजीफा देने का प्रस्ताव दिया है। इसमें से 4,500 रुपये सरकार प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण के माध्यम से और 500 रुपये कंपनियां अपने कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर) फंड से देंगी।
प्रत्येक इंटर्न को 6,000 मिलेंगे
आपको बता दें कि यह योजना युवाओं को कौशल विकास के माध्यम से कॉर्पोरेट क्षेत्र में नौकरी पाने में मदद करेगी। इस योजना में कई बड़ी कंपनियों ने रुचि दिखाई है और वे युवाओं को प्रशिक्षण देने के लिए तैयार हैं। इसके अलावा हर इंटर्न को 6,000 रुपये का एकमुश्त भुगतान भी मिलेगा। इस इंटर्नशिप के दौरान प्रशिक्षण का खर्च कंपनियां उठाएंगी, लेकिन युवाओं को रहने और खाने का खर्च खुद उठाना होगा। यह खर्च सरकार द्वारा दी जाने वाली सहायता राशि से पूरा किया जा सकता है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य कंपनियों और युवाओं के बीच मजबूत संबंध स्थापित करना है, ताकि युवाओं को आसानी से नौकरी मिल सके और कंपनियों को अच्छे कौशल वाले कर्मचारी मिलें।
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