सरकार ने पारंपरिक और उभरते क्षेत्रों में रोजगार के अवसर मुहैया कराए : प्रधानमंत्री मोदी

PM मोदी ने शनिवार को कहा कि उनकी सरकार ने पारंपरिक के साथ-साथ नवीकरणीय ऊर्जा, रक्षा उद्योग तथा ऑटोमेशन जैसे उभरते क्षेत्रों में रोजगार के अवसर मुहैया कराए हैं। PM ने यह बात विभिन्न सरकारी विभागों में 51,000 युवाओं को नियुक्ति पत्र बांटने के दौरान कही।

PM मोदी ने कहा कि उनकी सरकार और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) तथा उसके सहयोगियों द्वारा शासित राज्य पिछले वर्ष अक्टूबर से ‘रोजगार मेला’ आयोजित कर रहे हैं और अब तक लाखों युवाओं को नियुक्ति पत्र दिए जा चुके हैं।उन्होंने वर्चुअल माध्यम से कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘रोजगार मेला युवाओं के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।’’

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘आज भारत अपने युवाओं को कौशल और शिक्षा से युक्त कर रहा है, ताकि वे उभरते हुए अवसरों का लाभ ले सकें। भारत जिस दिशा में बढ़ रहा है और जिस गति से प्रगति कर रहा है, उससे सभी क्षेत्रों में रोजगार की नयी संभावनाएं पैदा हो रही हैं।’’

PM मोदी ने जातिवाद, क्षेत्रवाद को जड़ से खत्म करने का आह्वान किया

प्रधानमंत्री मोदी ने मंगलवार को लोगों से समाज में जातिवाद और क्षेत्रवाद जैसी विकृतियों को जड़ से खत्म करने का आह्वान करते हुए कहा कि दशहरा उत्सव को देश में हर बुराई पर देशभक्ति की जीत का प्रतीक भी बनाना चाहिए।

यहां दशहरा कार्यक्रम में एक विशाल सभा को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि यह हर किसी का सौभाग्य है कि वे सदियों के इंतजार के बाद अब अयोध्या में एक भव्य राम मंदिर के निर्माण का गवाह बन रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह कुछ महीनों में पूरा हो जाएगा और यह लोगों के धैर्य की जीत का प्रतीक है।

मोदी दशहरा समारोह के उपलक्ष्य में द्वारका में आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल हुए। कार्यक्रम स्थल पर मंच पर आयोजकों द्वारा प्रधानमंत्री मोदी का पारंपरिक स्वागत किया गया। इस दौरान बड़ी संख्या में लोग ‘लंका दहन’ देखने के लिए उत्सुकता से इंतजार कर रहे थे। मोदी का स्वागत शॉल ओढ़ाकर किया गया। उन्हें राम दरबार की मूर्ति और गदा भी भेंट की गई।

प्रधानमंत्री ने भारत के सफल चंद्र मिशन, नए संसद भवन के उद्घाटन और महिला आरक्षण कानून बनाए जाने का हवाला देते हुए कहा कि यह कई महत्वपूर्ण घटनाक्रमों के बीच हो रहा है।

मोदी ने लोगों से 10 प्रतिज्ञाएं लेने को भी कहा, जिसमें कम से कम एक गरीब परिवार को उसकी सामाजिक-आर्थिक स्थिति सुधारने में मदद करना भी शामिल है। उन्होंने कहा कि जब सबका विकास होगा, तभी देश विकसित राष्ट्र बनेगा।

उन्होंने पानी की बचत, डिजिटल लेनदेन, स्वच्छता, स्थानीय चीजों के लिए मुखर रहने (वोकल फॉर लोकल), गुणवत्तापूर्ण कार्य, घरेलू पर्यटन, प्राकृतिक खेती, मोटे अनाजों के उपभोग और फिटनेस पर भी जोर दिया।