Success Story: 1350 की नौकरी से की थी शुरुआत, आज एक बिलियन डॉलर की कंपनियों के हैं मालिक

Success Story: 1350 की नौकरी से की थी शुरुआत, आज एक बिलियन डॉलर की कंपनियों के हैं मालिक

Success Story: कहा जाता है कि अगर इंसान कुछ करने की ठान ले तो वह जिंदगी में किसी भी मुकाम को पा सकता है. ऐसा ही आज कर दिखाया है एक ऐसे व्यक्ति ने जिसने कभी मात्र 1350 रुपए महीने की सैलरी से अपने करियर की शुरूआत की थी. और आज दुनियाभर में उनका कारोबार फैला हुआ है. हम बात कर रहे हैं. डॉ. अनिल गुप्ता की.

1350 रुपये महीने की जॉब छोड़कर बने एंटरप्रेन्योर

जी हां, वही डॉ. अनिल गुप्ता जो माइक्रोटेक और ओकाया कंपनी के फाउंडर हैं. लेकिन उनकी जहां तक पहुंचने की यात्रा भी दिलचस्प रही है. कभी एक समय था जब उन्हें इंजीनियरिंग के बाद 1350 रुपये महीने की नौकरी करनी पड़ी. बात दें किडॉ. अनिल गुप्ता ने बिड़ला इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (BITS) पिलानी से इलेक्ट्रिकल एवं इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन किया है. इसके बाद उन्होंने साल 1350 रुपये महीने की नौकरी की.

नौकरी छोड़ एंटरप्रेन्योरशिप की ओर बढ़ाया कदम

लेकिन मन में कुछ बड़ा करने की सोच ने उन्हें ज्यादा दिन नौकर नहीं करने दी. जिसके बाद साल 1980 में उन्होंने नौकरी छोड़कर एंटरप्रेन्योरशिप की ओर कदम बढ़ाया. और रोलिंग मिल्स और स्टील ट्रेडिंग के बिजनेस की शुरुआत कर दी.

इसके बाद बंसल इलेक्ट्रॉनिक्स के तत्वाधान में भारत में पहली बार ऑप्टिकल फाइबर डिस्पले और कंप्यूटराइज्ड प्रोग्रामेबल मूविंग मैसेज साइन पेश किया. इसके बाद माइक्रोटेक इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड की स्थापना की. और आज तक कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा.

दो कंपनियों के फाउंडर हैं अनिल गुप्ता

डॉ. अनिल गुप्ता ओकाया और माइक्रोटेक जैसी बड़ी कंपनियों के फाउंडर हैं. जिनकी आज के समय में वैल्यू करीब एक बिलियन डॉलर है. यानी के आज अनिल गुप्ता 1350 रुपए से लेकर एक बिलियन डॉलर की कंपनियों तक पहुंच गए हैं.