आम आदमी पार्टी ने सुनील जाखड़ से किया सवाल, पूछा पंजाब की झांकी में कहां है भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल की तस्वीर?

आम आदमी पार्टी ने सुनील जाखड़ से किया सवाल, पूछा पंजाब की झांकी में कहां है भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल की तस्वीर?

गणतंत्र दिवस की झांकी के मसले पर आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब के मुख्य प्रवक्ता मलविंदर सिंह कंग ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा पंजाब की झांकी को लगातार दूसरे साल भी जगह न देने के बाद हम उम्मीद कर रहे थे कि पंजाब भाजपा के नेता इस मामले पर पंजाब के साथ खड़े होंगे। मगर पंजाब भाजपा प्रधान सुनील जाखड़ ने राज्य के साथ खड़े होने के बजाय इस मामले पर झूठ बोला।

कंग ने मीडिया को भारत सरकार की ऑफिशल वेबसाइट पर पंजाब का भेजा हुआ कॉन्सेप्ट दिखाया और कहा कि इसमें कहीं भी भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल की तस्वीर नहीं है।

इससे साबित होता है कि सुनील जाखड़ ने बिल्कुल झूठ बोला। कंग ने कहा कि जब से केन्द्र में नरेंद्र मोदी आए हैं तब से भाजपा ने झूठ की दुकान खोल रखी है। भाजपा नेता हर मामले पर लगातार झूठ बोलते रहते हैं।

कंग ने कहा कि पंजाब सरकार ने जो अपनी झांकियों का कॉन्सेप्ट भेजा था उसमें पहली नारी शक्ति के रूप में माई भागो की थी। दूसरी पंजाब के शहीदों की और तीसरी झांकी पंजाब की विरासत को लेकर थी।

इन झांकियों को भारत सरकार के ऑफिशल वेबसाइट पर भी देखी जा सकती है। लेकिन सुनील जाखड़ ने मुख्यमंत्री भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल की फोटो का झूठ बोलकर पंजाब के लोगों के साथ धोखा किया। हमें उनसे इस तरह की घटिया झूठ बोलने की उम्मीद नहीं थी।

कंग ने कहा कि भाजपा का यह रवैया बताता है कि वह भगत सिंह, सुखदेव, राजगुरु और करतार सिंह सराभा को शहीद नहीं मानती। भाजपा अपनी घटिया राजनीति के लिए पंजाब के शहीदों, जिन्होंने भारत की आजादी में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया, उनका अपमान कर रही है।

इसका कारण यह है कि भाजपा की मातृसंस्था आरएसएस ने आजादी के समय अंग्रेजों का साथ दिया था और आजादी के कई सालों बाद तक वह तिरंगे झंडे का सम्मान नहीं करती थी। यह घटना भी उसकी इसी घटिया सोच का नतीजा है।

कंग ने गुजरात और महाराष्ट्र की झांकी के कांसेप्ट का जिक्र किया और कहा कि गुजरात और महाराष्ट्र में भाजपा की सरकार है और दोनों राज्यों के कांसेप्ट में वहां की संस्कृति दिख रही है।

महाराष्ट्र की झांकी में वहां की संस्कृति के साथ स्वतंत्रता सेनानियों शिवाजी महाराज और डॉ भीमराव अम्बेडकर की तस्वीर है। वहीं गुजरात की झांकी में वहां की महिला शक्ति और संस्कृति को दिखाया गया है।

पंजाब की झांकी में भी एक माई भागो(महिला शक्ति) दूसरा यहां की संस्कृति और तीसरे में यहां के शहीदों की कुर्बानी थी। फिर किस आधार पर पंजाब का कांसेप्ट खारिज किया गया?

कंग ने कहा कि देश के जिन-जिन राज्यों में बीजेपी की सरकार है उन राज्यों को पिछले पांच सालों से लगातार 26 जनवरी की परेड में जगह दी गई है लेकिन पंजाब को इन्होंने दूसरी बार लगातार परेड से बाहर किया है।

कंग ने सवाल किया कि भाजपा नेता जवाब दें कि अगर महाराष्ट्र की नारी शक्ति, संस्कृति और स्वतंत्रता सेनानियों की झांकी स्वीकार की जा सकती है तो पंजाब की नारी शक्ति और शहीदों की झांकी रिजेक्ट क्यों की गई? उन्होंने कहा कि इससे साफ है कि भाजपा को पंजाब, पंजाबियत और देश के शहीदों से नफरत है।