चंडीगड़ में बिजली गुल, कर्मियों की हड़ताल से हाहाकार, हरियाणा से 400 आउटसोर्सिंग कर्मचारी बुलाए गए…

चंडीगढ़ में बत्ती गुल होने के कारण बिजली कर्मियों की हड़ताल से हाहाकार मच गया है। वहीं मेयर ने दावा किया है कि पंजाब और हरियाणा से 400 कर्मचारियों को बुलाया गया है।

वहीं इस बार बिजली कर्मचारियों को राजनीतिक दलों के साथ-साथ शहर के रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के अलावा पेंडू संघर्ष कमेटी और किसान संगठनों का साथ मिला है।

बता दें चंडीगढ़ में बिजली विभाग के निजीकरण के खिलाफ बिजली कर्मचारियों की हड़ताल शुरु होते ही चंडीगढ़ में हाहाकार मच गया है। हड़ताल के कारण शहर के कई इलाकों में एक साथ रात 12:00 बजे के आस-पास बिजली कट गई। प्रशासन के सारे दावे भी फेल नजर आए।

चंडीगढ़ में बिजली विभाग के निजीकरण के खिलाफ बिजली कर्मचारियों की हड़ताल शुरू हो गई है। 72 घंटे की हड़ताल के शुरू होते ही चंडीगढ़ में हाहाकार मच गया है। हड़ताल के कारण शहर के कई इलाकों में एक साथ रात 12:00 बजे के आसपास बिजली कट गई। प्रशासन के सारे दावे भी फेल नजर आ रहे हैं, क्योंकि लोगों को हेल्पलाइन नंबरों पर कोई मदद नहीं मिल रही है।

बिजली कटों से हाहाकार के बीच चंडीगढ़ की मेयर सर्बजीत कौर ने ट्वीट किया कि मुझे निरंतर चंडीगढ़ के कई हिस्सों से बिजली गुल होने की शिकायतें आ रही है। चंडीगढ़ प्रशासन द्वारा पंजाब और हरियाणा से 400 आउटसोर्सिंग कर्मचारी बुला लिए गए हैं ताकि शहर में तुरंत बिजली बहाल करने कार्य किया जा सके। 

शिकायत केंद्रों पर भी लाइट नहीं 

शिकायत केंद्रों पर भी बिजली नहीं है। अन्य विभाग के कर्मचारी शिकायत केंद्रों पर ड्यूटी दे रहे हैं और लोगों की समस्याओं को अंधेरे में सुन रहे हैं। विभाग की तरफ से सभी केंद्रों पर पुलिस भी तैनात की गई है। सुबह 8:00 बजे तक मिली जानकारी के अनुसार सेक्टर-22A, 35A, 43, मौलीजागरां, विकास नगर, मौली पिंड, 44, 45सी, 45, 42बी, 52, 53, 53, 56, 41ए, 63, 50, किशनगढ़, 28डी, 37, 38, 38डबल्यू, 27 और मनीमाजरा के कई हिस्सों में लाइट कट गई है।

हेल्पलाइन नंबरों पर कोई मदद नहीं मिल रही है। लोग लाचार हो गए हैं। इस बार बिजली कर्मचारियों को राजनीतिक दलों के साथ साथ शहर के रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के अलावा पेंडू संघर्ष कमेटी व किसान संगठनों का साथ मिला है। हड़ताली कर्मचारी मंगलवार को कामकाज छोड़ सेक्टर-17 के परेड ग्राउंड के साथ लगते ग्राउंड में विशाल रैली भी करेंगे। इस हड़ताल से लोग परेशान हो रहे हैं।


बिजली जाने से बच्चों की कक्षाएं, पीयू की परीक्षाएं, वर्क फ्रॉम होम समेत सब कुछ प्रभावित हो रहा है। उन लोगों को ज्यादा दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, जो कोरोना संक्रमित हैं और होम आइसोलेशन में हैं। प्रशासन को पता था कि कर्मचारी हड़ताल पर जा रहे हैं, लेकिन विभाग के पास कोई बैकअप योजना नही है, जिसका खामियाजा लोगों को भुगतना पड़ रहा है।

बिजली विभाग का निजीकरण रोका जाए

मशीनरी, बिल्डिंग और जमीन की कीमत तय कर आडिट कराया जाए
जिस निजी कंपनी को बिजली विभाग सौंपा जा रहा है, उसके पांच वर्षों के प्रदर्शन की जांच की जाए
 बिजली कर्मचारियों का सरकारी दर्जा बहाल रखा जाए