कांग्रेस न होती तो इमरजेंसी का कलंक न होता, सिखों का नरसंहार न होता, लोकतंत्र परिवारवाद से मुक्त होता: राज्यसभा में बरसे पीएम मोदी

पीएम मोदी ने मंगलवार को राज्यसभा में विपक्ष पर जमकर हमला बोला। पीएम मोदी ने कहा कि यूपीए के समय महंगाई डबल डिजिट में थी। विपक्ष अपनी निराशा देश पर न थोपे। विपक्ष को अपने पुराने दिन याद आते रहते हैं।

पीएम मोदी ने यह भी कहा कि अगर कांग्रेस न होती तो सिखों का नरसंहार न होता। कश्मीर से पंडितों का पलायन न होता। बेटियों को तंदूर में जलाया न जाता।

पीएम ने कहा, सदन में कहा गया कि कांग्रेस ने भारत की नींव रखी और बीजेपी ने सिर्फ झंडा फहराया। सदन में इसे मजाक की तरह नहीं कहा गया। यह गंभीर सोच का परिणाम है जो देश के लिए खतरनाक है – कुछ लोगों का मानना है कि भारत का जन्म 1947 में हुआ था। इस सोच के कारण समस्याएं पैदा होती हैं।

पीएम ने कहा, पिछले 50 वर्षों से काम करने का मौका पाने वालों की नीतियों पर इसका प्रभाव पड़ा है। इसने विकृतियों को जन्म दिया। यह लोकतंत्र आपकी उदारता के कारण नहीं है। 1975 में लोकतंत्र का गला घोंटने वालों को इस पर नहीं बोलना चाहिए।

कांग्रेस के सामने मुश्किल यह है कि उन्होंने वंशवाद से पहले कभी और कुछ नहीं सोचा। हमें यह स्वीकार करना होगा कि भारत के लोकतंत्र के लिए सबसे बड़ा खतरा वंशवादी पार्टियां हैं। जब किसी दल में परिवार सर्वोपरि होता है तो सबसे पहला नुकसान प्रतिभा का होता है।

पीएम मोदी ने आगे कहा, देश जब आजादी के 100 साल मनाएगा, तब हमें देश को कहां ले जाना है, कैसे ले जाना है, इसके लिए ये बहुत अहम समय है। पीएम मोदी ने कहा, दुनिया अब भी कोविड-19 से जूझ रही है। मानवता ने पिछले 100 साल में ऐसी चुनौती नहीं देखी है।

पीएम मोदी ने कहा कि कोविड के दौर में परेशानियों के बीच हमने गरीबों को घर मुहैया कराया। पीएम मोदी ने कहा कि कोविड के दौर में 80 करोड़ गरीबों को मुफ्त राशन दिया गया। भारत ने विश्व के सामने एक उदाहरण पेश किया है।

पीएम मोदी ने कहा, पहले लॉकडाउन के दौरान काफी विचार-विमर्श और थोड़े साहस के साथ तय हुआ कि गांवों के किसानों को लॉकडाउन से छूट दी जाए। यह एक जरूरी फैसला था, जिसके परिणामस्वरूप हमारे किसानों ने महामारी के दौरान भी बंपर उत्पादकता की थी।

पीएम मोदी ने कहा, इस महामारी के दौरान हमारे देश के युवाओं ने अपनी पहचान बना कर देश को गौरवान्वित किया है। हमारे युवाओं ने खेल के क्षेत्र में अपनी पहचान बनाई और महामारी के कारण अपने प्रदर्शन को प्रभावित नहीं होने दिया और देश का नाम रोशन किया।

पीएम मोदी ने कहा, कोविड से पहले के समय के तुलना करें तो लॉकडाउन हटने के बाद हायरिंग दो गुना बढ़ गई हैं। NASSCOM की रिपोर्ट में भी यही ट्रेंड नजर आया है. हाल ही के वर्षों में 27 लाख लोगों को आईटी सेक्टर में नौकरियां मिली हैं।

पीएम ने कहा, ऐसी स्थिति में, हमने महंगाई को कंट्रोल करने की कोशिश की। साल 2015-2020 के बीच दर 4-5 प्रतिशत थी। यूपीए के समय यह डबल डिजिट में थी। आज हम इकलौती अर्थव्यवस्था हैं, जो तेजी से आगे बढ़ रही है और महंगाई भी मध्यम है।